💐💐ॐ 💐💐ॐ जय सरस्वती भगवती देवी नमः 💐💐
नतमस्तक ,नमन, अभिवादन
जय सरस्वती देवी, आप ज्ञान रूप में ,
मेरी बुद्धि में जो सदा विराजमान रहकर
मेरा मार्गदर्शन करती रहती हो ,उसके लिये
मैं आपका वन्दन करूँ ,प्रतिपल,प्रतिदिन,
असँख्य बार वन्दन करूँ।
" हे सरस्वती माता" आप जो हम मनुष्यों की
बुद्धिमें विराजमान होकर हमारा मार्गदर्शन
करती हो ,हम मनुष्यों को भले और बुरे का व
विवेक कराती हो,हमें सँसार में शुभ कर्मो के लिये
प्रेरित करती हो ,उसके लिये मैं धन्यवाद करूँ
मैं, तो निश दिन" हे,सरस्वती देवी" ,तुम्हारा ही
गुणगान करूँ ,यशगान करूँ । हे बुद्धि विवेक
की देवी हम सबका मार्गदर्शन करते रहो ।
ऐसा वर दो वीणा वादिनी ,मेरी वीणा से में भी
ज्ञान का अमृत भर दो 💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐
नतमस्तक ,नमन, अभिवादन
जय सरस्वती देवी, आप ज्ञान रूप में ,
मेरी बुद्धि में जो सदा विराजमान रहकर
मेरा मार्गदर्शन करती रहती हो ,उसके लिये
मैं आपका वन्दन करूँ ,प्रतिपल,प्रतिदिन,
असँख्य बार वन्दन करूँ।
" हे सरस्वती माता" आप जो हम मनुष्यों की
बुद्धिमें विराजमान होकर हमारा मार्गदर्शन
करती हो ,हम मनुष्यों को भले और बुरे का व
विवेक कराती हो,हमें सँसार में शुभ कर्मो के लिये
प्रेरित करती हो ,उसके लिये मैं धन्यवाद करूँ
मैं, तो निश दिन" हे,सरस्वती देवी" ,तुम्हारा ही
गुणगान करूँ ,यशगान करूँ । हे बुद्धि विवेक
की देवी हम सबका मार्गदर्शन करते रहो ।
ऐसा वर दो वीणा वादिनी ,मेरी वीणा से में भी
ज्ञान का अमृत भर दो 💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐💐